Tuesday, November 23, 2010

एचसी के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने लगायी रोक,मुर्शिदा फिर बनी प्रमुख

फोटो नंबर 22 एआरआर 11 कैप्शन: समर्थकों के साथ प्रखंड प्रमुख व उपप्रमुख
जोकीहाट(अररिया), निज प्रतिनिधि: माननीय सर्वोच्च न्यायालय ने जोकीहाट प्रमुख मुर्शिदा बेगम बनाम किश्वर नसीम के मामले में माननीय हाईकोर्ट पटना के फैसले पर स्थगन आदेश जारी किया है। सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति हरजीत सिंह वेदी तथा चंद्रमौलि कुमार प्रसाद की खंडपीठ ने सीडब्लूजेसी नंबर 12617/08 के फैसले पर अगले आदेश तक के लिए रोक लगा दिया है। इसके साथ ही सोमवार को प्रखंड प्रमुख मुर्शिदा बेगम एवं उपप्रमुख तारीक अनवर उर्फ नन्हा ने बीडीओ मो. सिकंदर के समक्ष पदभार ग्रहण किया।
सुप्रीम कोर्ट में पूर्व प्रमुख मुर्शिदा बेगम नेवाद संख्या 9729/10 उच्च न्यायालय के फैसले के विरूद्ध मामला दायर करवाया था। सुप्रीम कोर्ट के स्थगन आदेश के आधार पर सोमवार को पुन: जोकीहाट प्रखंड प्रमुख की कुर्सी मुर्शिदा बेगम एवं उपप्रमुख की कुर्सी तारिक अनवर उर्फ नन्हा ने संभाला। इस दौरान प्रमुख मुर्शिदा बेगम ने सुप्रीम कोर्ट के निर्णय की प्रतिलिपि डीएम एम सरवणन, एसडीओ डा. विनोद कुमार, डीपीआरओ कुमार सिद्वार्थ, बीडीओ मो. सिकंदर को सौंप दिया है। गौरतलब है कि मुर्शिदा बेगम ने अविश्वास प्रस्ताव लाकर जोकीहाट प्रमुख पद से किश्वर नसीम को अपदस्थ कर दिया था। अविश्वास प्रस्ताव की प्रक्रिया के विरूद्ध प्रखंड प्रमुख किश्वर नसीम ने पटना हाई कोर्ट की शरण ली। हाई कोर्ट ने अविश्वास प्रस्ताव की प्रक्रिया को रोष पूर्ण करार देते हुए पुन: किश्वर नसीम को प्रखंड प्रमुख बनाने का फैसला दिया। हाई कोर्ट के फैसले के विरूद्ध मुर्शिदा बेगम ने सर्वोच्च न्यायालय दिल्ली में उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती दी। माननीय उच्चतम न्यायालय ने अपने निर्णय के आधार पर हाई कोर्ट के फैसले पर रोक लगा दिया। इस निर्णय के आलोक में सोमवार को प्रखंड प्रमुख मुर्शिदा बेगम एवं उपप्रमुख तारीक अनवर उर्फ नन्हा ने बीडीओ मो. सिकंदर के समक्ष पदभार ग्रहण किया। इस दौरान उनके साथ दर्जनों समर्थक मौजूद थे।

किस का बजेगा बाजा, किस के गले में पड़ेगी माला?

रेणुग्राम(अररिया),जाप्र: नेपाल की सीमा पर अवस्थित अररिया जिले के छह विधान सभा क्षेत्रों में विगत एक माह पूर्व हुए चुनाव में शांतिपूर्ण मतदान संपन्न होने के साथ ईवीएम में बंद वोटों की गिनती की अब उल्टी गिनती शुरू हो चुकी है। जिसमें दलीय, निर्दलीय प्रत्याशियों के परिजनों, कार्यकत्र्ताओं व समर्थकों की दिल की धड़कने बढ़ने लगी है। हालांकि जीत हार को लेकर प्रत्याशी समर्थक सहित आमजन अपने-अपने तरीके से जीत-हार का गणित सुलझाने में लगे हुए हैं। मतगणना 24 नवंबर को है और परिणाम भी उसी दिन सामने आयेंगे। लेकिन समय नजदीक आने के साथ ही इन दिनों चाय-पान की दुकानें, चौक-चौराहों, गांव-टोलों व खेत-खलिहानों के साथ सरकारी, गैर सरकारी सभी संस्थानों में विभिन्न क्षेत्रों से कौन प्रत्याशी जीतिगा, कौन हारेगा ओर किस-किस के गले में पड़ेगी विजय माला तथा किस-किस का निकलेगा दीवाला जैसी चर्चा ही जोरों पर है। इवीएम में बंद प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला तो भविष्य के गर्भ में है। लेकिन किस विधान सभा क्षेत्र से कौन प्रत्याशी जीतेगा और कौन-कौन हारेगा इस बात को लेकर लाखों रूपये दांव पर लग गये हैं। समर्थकों में अपने-अपने प्रत्याशियों के समर्थन में श‌र्त्त लगाने की होड़ मची है।

एसडीपीओ ने की मारपीट मामले की जांच

कुर्साकांटा(अररिया),निसं: पिछले मंगलवार को प्रखंड मुख्यालय स्थित बाजार में दो पक्षों के बीच हुई मारपीट को लेकर उपजे तनाव के मद्देनजर डीएसपी ने सोमवार को जांच की। इस मारपीट की घटना में एक पक्ष की ओर से पांच व्यक्ति एवं दूसरे पक्ष की ओर से एक व्यक्ति घायल हुआ था। दोनों पक्षों की ओर से कुर्साकांटा थाना में कांड संख्या 128/10 एवं 129/10 दर्ज की गयी है। सोमवार को एसडीपीओ मो. कासिम ने घटना स्थल पर पहुंचकर घटना के संबंध में जांच पड़ताल की। एसडीपीओ मो. कासिम ने बताया कि दोनों पक्षों से पूछताछ की जा रही है। दोनों पक्षों द्वारा दर्ज प्राथमिकी को लेकर घटना स्थल पर विभिन्न लोगों एवं दुकानदार से पूछताछ की।

साढ़े चार साल में चार बार बदले प्रमुख व उपप्रमुख

जोकीहाट(अररिया),निप्र: जोकीहाट प्रखंड प्रमुख एवं उपप्रमुख की कुर्सी बीते साढ़े चार वर्षो में चार बार बदल चुकी है। इन दिनों प्रखंड प्रमुख की कुर्सी पर अपने समर्थक को बैठाने के लिए कई बार दिग्गज नेताओं ने पर्दे के पीछे से शह मात का खेल जारी रखा। जिसमें वे सफल भी रहे। सर्वप्रथम प्रमुख बनी किश्वर नसीम ने अपने चिरप्रतिद्वंदी मुर्शिदा बेगम को एकमत से एवं उपप्रमुख पद पर मुरलीधर झा को उपप्रमुख गौरी देवी ने एक मत से पराजित किया था। अपनी पराजय का दर्द दो वर्षो तक दबाते हुए मौका पाकर मुर्शिदा बेगम ने अविश्वास लाकर हार का बदला चुका लिया। इस मात को प्रमुख किश्वर नसीम एवं उपप्रमुख गौरी देवी को हजम नहीं हुआ। उन्होंने पुन: हाई कोर्ट का फैसला लाकर मुर्शिदा बेगम एवं गौरी देवी को अपदस्थ कर दिया। इस पराजय से निराश मुर्शिदा बेगम ने फिर किश्वर नसीम को पटकनी देकर कुर्सी पर काबिज हुए। इस तरह बीते कार्यकाल में जोकीहाट प्रमुख एवं उपप्रमुख की कुर्सी पर संकट के बादल छाये रहे।

जीत को लेकर जोर पकड़ रहा दावों का दौर

फारबिसगंज(अररिया) ,जासं: बिहार विधान सभा चुनाव परिणाम आने से पूर्व पार्टी नेताओं ने जीत को लेकर अपने अपने दावे किये है। आगामी 24 नवंबर को होने वाले मतगणना से पूर्व भाजपा व लोजपा जीत के प्रति आश्वस्त है। वहीं मनोज साह ने यहां से पार्टी प्रत्याशी मायानंद ठाकुर के विजय होने का दावा किया है। श्री साह ने कहा कि पार्टी को समाज के सभी वर्गो का समर्थन मिला है जो जीत का आधार होगा। इधर जदयू के जिला प्रवक्ता पवन मिश्रा ने भी फारबिसगंज विधानसभा से भाजपा प्रत्याशी पदम पराग राय वेणु के विजयी होने का दावा किया है। श्री मिश्र ने कहा कि मतगणना के बाद विपक्ष के दावों की हवा निकल जायेगी। उन्होंने जिले की सभी सीटों पर राजग के जीत का दावा किया है।

मतगणना: काउंटडाउन शुरू, फैसले पर टिकी सब की निगाहें

अररिया, संसू: फैसले की घड़ी आने में अब कुछ ही घंटे शेष बचे हैं। बुधवार को आठ बजते ही ईवीएम में बंद प्रत्याशियों के भाग्य धीरे धीरे खुलने लगेंगे। 80 प्रत्याशियों का भाग्य 21 अक्टूबर को ही मतदाताओं ने ईवीएम में बंद कर दिया था। 24 नवंबर को छह माननीय की घोषणा हो जायेगी। इस चुनाव में न सिर्फ अस्सी प्रत्याशियों के बल्कि सांसद, पूर्व सांसद, पूर्व विधायक, पूर्व केंद्रीय मंत्री की भी प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। परिणाम सामने आते ही छह प्रत्याशी को विधायक का ताज पहनाया जायेगा। काउंट डाउन शुरू है। कोई जीत के प्रति आश्वस्त है और पार्टी की तैयारी में जुटा है। लेकिन कुछ प्रत्याशी यह भी जान रहे है कि उनकी हार तय है लेकिन वे भी मतगणना की तैयारी में पूरी ताकत के साथ जुड़े है।
छह विधानसभा क्षेत्र में 2005 के चुनाव में राजग गठबंधन ने छक्का लगाया था। लेकिन उपचुनाव में अररिया सदर की सीट खिसककर लोजपा के खाते में चली गयी। इस बार हुए चुनाव में मतदाताओं ने पूरे जोश खरोश के साथ चुनाव में भाग लिया है। राजग व राजद लोजपा से जुड़े नेता व कार्यकर्ता अपनी अपनी जीत के प्रति काफी आश्वस्त हैं। कांग्रेस पार्टी के लोग एक दो सीट को छोड़ किसी की चर्चा नहीं कर रहे है। अररिया, जोकीहाट, सिकटी, फारबिसगंज, रानीगंज तथा नरपतगंज विधानसभा क्षेत्र के मतदाताओं ने तो अपना काम कर दिखाया है। अब उन्हें सिर्फ 24 नवंबर का इंतजार है।

लापरवाही के कारण चारागाह में बदला मेला मैदान

सिकटी(अररिया)संसू: प्रखंड मुख्यालय स्थित मुर्हरम मेला मैदान प्रशासनिक एवं जनप्रतिनिधियों की उपेक्षा के कारण यह चारागाह का रूप ले रहा है। भारत नेपाल अंतरराष्ट्रीय सीमा होने के कारण इस मैदान की उपयोगिता कार्यक्रमों के आयोजन स्थल के साथ साथ सीमा सर्वेक्षण दल के बसेरा के रूप में भी किया जाता रहा है। बावजूद इसके विकास पर अब तक किसी का ध्यान नहीं गया है। बताते चलें कि कई एकड़ में फैले इस मैदान को चारदीवारी बनाकर तथा खेल मैदान विकास योजना के तहत विकसित किया जा सकता है। इस मैदान पर स्थानीय खेलकूद कार्यक्रम के साथ साथ चुनावी सभाएं, पशुधन चिकित्सा शिविर, मुर्हरम का अखाड़ा के साथ अन्य कार्यक्रम भी आयोजित किये जाते हैं। लेकिन बरसात के दिनों में पूरा मैदान जलजमाव से ग्रसित रहता है। साथ ही लोगों द्वारा मनरेगा के तहत रोजगार सृजन के साथ इसके विकास का पूरा इंतजाम किया जा सकता है। लेकिन अब तक इस ओर न तो प्रशासनिक अधिकारी ही और न तो जनप्रतिनिधि ही ध्यान दिये हैं। बहरहाल इस मैदान को किसी उद्धारक की तलाश हैI

प्रत्याशियों की बेचैनी बढ़ी

फारबिसगंज(अररिया),जासं: विधानसभा चुनाव का परिणाम आने में अब कुछ ही दिन शेष बचे हैं। जीत के अपने अपने दावे भी किये जा रहे है। लेकिन हकीकत यही है कि सभी प्रत्याशी अंदर से सहमे हुए हैं। चाहे फारबिसगंज विधानसभा क्षेत्र हो या नरपतगंज विधानसभा क्षेत्र प्रत्याशियों की धड़कनें अब तेज हो गयी। फारबिसगंज विधानसभा में भाजपा के पदम पराग राय वेणु तथा लोजपा उम्मीदवार मायानंद ठाकुर के बीच काटे का संघर्ष है। जबकि नरपतगंज विधानसभा में भाजपा की देवयंती देवी तथा राजद के अनिल यादव के बीच जीत हार का फैसला होना है। जीत के दावे सभी कर रहे हैं, लेकिन अंदर से सभी की बेचैनी बढ़ी हुई है।

चीन निर्मित खतरनाक खिलौना पहुंचा बच्चों के हाथ

फारबिसगंज(अररिया),जासं: अब चीन निर्मित खतरनाक जानलेवा खिलौना बंदूक भारतीय बाजारों में पहुंच गया है। इस बंदूक से निकली गोली दस मीटर की दूरी पर जाकर विस्फोट करता है जो जानलेवा हो सकता है। कहीं साजिश के तहत इसे बच्चों के हाथों में तो नहीं थमाया जा रहा है। चीन निर्मित खिलौनों में गुडडा गुड़िया, बार्बी डाल और साधारण बंदूके ही अब तक भारतीय बच्चों के हाथों में हुआ करता था। लेकिन अब बच्चों के पास चीन निर्मित खतरनाक खिलौने पहुंचने लगे हैं। नौनिहालों के हाथों जानलेवा खिलौना बंदूक लग गया है। जिसमें बारूद भरी गोली लगायी जाती है। फायर करने के बाद काफी तेजी से करीब दस मीटर की दूरी पर जाकर यह पटाखे की तरह विस्फोट करता है जो अगर किसी व्यक्ति को लग जाय तो यह उसे बुरी तरह घायल हो सकता है तथा जान भी जा सकती है। यदि किसी बच्चे को लग जाये तो..।
छोटे आकार की इस चीन निर्मित पिस्तौल में आठ राउंड की एक चकरी लगायी जाती है। ट्रेगर के प्रहार से नाल में एक एक कर डाली गयी लंबे आकार की गोली काफी तीव्र गति से निकलती है तथा ब्लास्ट कर जाती है। कभी कभी तो यह बंदूक में ही यह विस्फोट कर जाता है। जिससे चलाने वाले बच्चे भी जख्मी भी हो जाते हैं। लेकिन खतरों से अनजान बच्चे इस जानलेवा खिलौना से खेलने से परहेज नहीं कर रहे हैं। अभिभावक भी बच्चों के साथ इस खतरनाक खिलौना का मजा लेते हैं। एक अभिभावक ने बताया कि यह खिलौना खतरनाक तो है पर मजेदार है। बाजार में सौ से सवा सौ रूपये की कीमत पर बिक रहा है।
भारत की होली दीवाली और तीज त्योहार पर पहले ही चीन निर्मित सामानों की धमक हो चुकी है। रंग गुलाल से लेकर बल्ब, मोबाइल, खिलौने, कपड़े, श्रृंगार के सामान, टार्च जैसी रोजमर्रा की चीजों पर चीन निर्मित सामान ने मजबूत पकड़ बना ली है। भारतीय अर्थव्यवस्था को दीमक की तरह चाट जाने की चीन की योजना खतरनाक दिशा में बढ़ रही है। भारतीय परंपराओं में अपनी जगह बनाती जा रही चीनी सामान अब बच्चों पर भी गहरी छाप छोड़ने लगी है। सिंथेटिक पदार्थ से बने पहले के चीनी खिलौना भी बच्चों के सेहत पर बुरा प्रभाव छोड़ रहा है। खिलौनों की दुनियां में नयी तकनीक के चीनी खिलौने भी बच्चों के बीच आकर्षण का केंद्र बन रहा है। सस्ते दामों में मिलने वाली चीनी खिलौनों ने भारतीय खिलौनों की चाबी गुम कर दी है। बाजार में अधिकांश दुकानों पर चीन निर्मित खिलौनों की ढेर पड़ी हुई है। नये और जानलेवा हो सकने वाले खिलौना चीनी पिस्तौल बच्चों के लिए खतरनाक तो है ही इसके जद में आने वाले भी खतरों से बाहर नहीं हैI

साम्प्रदायिक सौहार्द जरूरी, आज लोग हैं परेशान : मतीन

अररिया, संवाद सहयोगी: मआशरे में फैली विभिन्न सामाजिक बुराईयां, गैर इसलामी रस्म रिवाज के कारण आज हर लोग परेशान हैं। दहेज जैसी बुराईयों के कारण आज समाज की हजारों लड़कियां शादी से महरूम हैं। यह बातें रविवार को एक अजीमुशान जलसे को संबोधित करते हुए मौलाना अमीन अहमद खान चतुर्वेदी ने कही। तंजीम असलाहे मआसरा अररिया के सौजन्य से बुधेश्वरी रामपुर में आयोजित जलसे को संबोधित करते हुए श्री चतुर्वेदी ने कहा कि समाज की तरक्की के लिए मआशरे में सुधार जरूरी है। तंजीम समाज में फैली तमाम तरह की छोटी छोटी बुराईयों को जलसे के माध्यम से समाप्त करने की कोशिश कर रही है। जलसे की अध्यक्षता करते हुए मौलाना मो. इशहाक ने कहा कि असलाहे मआशरा के लिए जरूरी है कि हम अपने बच्चों को बेहतर से बेहरत तालिम दें और बेकार के खर्चो से बचें। समाज में अमन शांति के लिए सभी धर्म के लोगों के बीच आपसी प्रेम और सौहार्द जरूरी है। जलसे को संबोधित करते हुए तंजीम के महासचिव मौलवी हदीशुल्लाह नसर भागलपुरी ने कहा कि सामाजी, तालिमी, बेदारी लाना, गरीब बच्चों की मदद करना, लड़कियों को शिक्षा के साथ साथ हुनर सिखाना, गरीब और बीमार का इलाज कराना तथा बैतुल माल का नज्म आदि कार्य तंजीम के माध्यम से किया जा रहा है। जलसे को मौलाना आबिद खान, मुफ्ती अतहर कासमी, गुलाम रब्बानी कासिर, मौलाना नसीमुद्दीन व हारूण रशीद ने भी संबोधित किया। जलसे का संचालन मौलाना हबीब ने किया। जलसे में इलाके के हजारों अकीदतमंद मौजूद थे।

जात की चाशनी के बावजूद फोकस में रहा विकास का एजेंडा

अशोक झा,अररिया, जागरण प्रतिनिधि : जात की चुनावी चाशनी के बावजूद विधान सभा चुनाव में विकास के एजेंडे ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। सबने बोले विकास के बोल, चुनावी जीत के बाद भरपूर विकास का वायदा। ..क्षेत्र को चमका देंगे। वहीं इस बार के चुनाव में मतदान का प्रतिशत विगत चुनाव की तुलना में अधिक रहा। जिले के तीन विस क्षेत्रों में महिलाओं का मतदान प्रतिशत पुरुषों की तुलना में अधिक रहा। अन्य तीन में भी विगत चुनाव की तुलना में महिलाएं अधिक तादाद में वोट डालने निकली।
डीडीसी उदय कुमार सिंह की मानें तो चुनाव के दौरान प्रशासन न केवल कानून व्यवस्था को ले सजग था बल्कि वोट गिराने से समाज का कोई तबका वंचित नहीं रहे इस पर भी उसकी नजर थी।
हाल में संपन्न विधान सभा चुनाव के दौरान जिले में सत्ता पक्ष व विपक्ष की लगभग पचास बड़ी सभाएं हुई। इन सभाओं में विकास सेंट्रल फोकस पर रहा। कल तक जात के नाम पर समाज में वोट की जुगाड़ करने वाले राजनेताओं के बोल भी विकास पर ही केंद्रित रहे। जिनका दावा विकास का है वे तो विकास पर ही बोलते रहे।
ऐसा क्यों हुआ? इस संबंध में अररिया कालेज में समाजशास्त्र के विभागाध्यक्ष डा. सुबोध कुमार ठाकुर का मानना है कि समाज में शिक्षा व जागरूकता दोनों बढ़ी है। अब केवल जाति के झुनझुने से काम चलने वाला नहीं। जनता चाहती है कि समाज से विकास हीनता का अभिशाप दूर हो। जात शादी ब्याह के लिये ठीक है अब धरातल पर कुछ काम होना
चाहिये।
इस बार के चुनावों में यह खास रहा कि जोकीहाट, सिकटी व रानीगंज में महिलाओं ने वोट डालने के मामले में पुरुषों को पछाड़ दिया। अन्य तीन क्षेत्रों में महिलाओं का मतदान प्रतिशत उल्लेखनीय रहा।
जानकारों की मानें तो चुनाव आयोग के डंडे व प्रशासन के प्रयासों से ऐसा संभव हो पाया। इस बार के चुनाव में सेक्टर मैजिस्ट्रेट को काम पर लगाया गया था। उन्हें मतदाताओं को जागरूक करने व मतदान में किसी प्रकार की बाधा को दूर करने का काम सौंपा गया था। महिला कालेज में प्राध्यापक व चुनाव में सेक्टर मैजिस्ट्रेट रहे प्रो. संजय शंकर का मानना है कि उनके जैसे लोगों की दिन रात मेहनत की वजह से लोंगों में मतदान के प्रति आम तौर रहने वाली अरुचि घटी और लोग वोट डालने निकले। उन्होंने बताया कि ग्रामीण क्षेत्र के बहुत से युवा हरियाणा व पंजाब में धन कटनी का सीजन होने की वजह से अनुपस्थित रहे, अन्यथा मतदान का प्रतिशत और भी अधिक रहता।

पर्यावरण संरक्षण का अनूठा संदेश लेकर आते हैं सामा चकेवा

अररिया, जागरण प्रतिनिधि: सामा चकेवा की सदियों पुरानी कथा मिथिला व मत्स्य के इलाके की सुंदर सांस्कृतिक छटा है। देवोत्थान एकादशी के दिन धार्मिक कर्मकांड की आफिसियल क्लोजिंग के बाद कल्चर की छटा बिखेरने की अद्भुत कोशिश। सामा चकेवा के गीत न केवल एक बहन द्वारा अपने भाई व पति की सुख समृद्धि की कहानी बयान करते हैं, बल्कि पर्यावरण व जल संरक्षण का संदेश लेकर भी आते हैं। इस बार भी कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर रविवार की देर रात सामा चकेवा का त्यौहार पारंपरिक निष्ठा के साथ मनाया गया।
जरा एक गीत पर गौर कीजिये:
..गाम के राजा तोहें, हम्मर भैया हे, हाथ दस पोखरि खुनाय दीह, चंपा फूल लगाय दीह, सामा चकेवा खेल करय हे।
मेरा भैया गांव का राजा है और मेरे लिये कई तालाब बनबा देगा, चंपा फूल लगबा देगा ताकि सामा व चकेवा आकर उसमें क्रीड़ा कर सकें। कौन थे सामा व चकेवा?
जानकारों के मुताबिक सामा भगवान श्रीकृष्ण की पुत्री थी। उनका विवाह चक्रवाक (चकेवा) के साथ हुआ था। दोनों प्रसन्नता पूर्वक जीवन व्यतीत कर रहे थे। इसी बीच डिहुली नामक चेरिया ने सामा के चरित्र पर झूठा दोषारोपण कर उसे पिता श्री कृष्ण द्वारा शापित करवा दिया। सामा चिड़िया बन जाती है और विभिन्न स्थानों पर भटकने लगती है।
बाद में भाई साम्ब के प्रयासों से सामा की शाप मुक्ति होती है। वह अपने पति के साथ खुशी खुशी रहने लगती है। वहीं,चुरिया डिहुली को चुगलखोरी की सजा मिलती है। उसे चुगला बना कर मुंह में कारी व चूना लगा कर जला दिया जाता है।
सामा चकेवा त्यौहार को ले जिले के गांव व बाजारों में खासी चहल पहल रही। महिलाओं ने देर रात होते ही सामा चकेवा का का पर्व मनाया तथा चुगला के मुंह में आग लगा कर उसे चुगलखोरी की सजा दी।

मतगणना को ले सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद

अररिया, संसू: आगामी 24 नवंबर को कृषि उत्पादन बाजार समिति के प्रांगण में होने वाले छह विधानसभा क्षेत्र की मतगणना के जिला प्रशासन ने सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किया है। बुधवार को होने वाले मतगणना के लिए चप्पे- चप्पे पर सुरक्षा की व्यवस्था की गयी है। विधि व्यवस्था कोषांग से जिला पदाधिकारी एम सरवणन एवं पुलिस कप्तान विनोद कुमार ने 24 नवंबर के लिए संयुक्त आदेश जारी कर अधिकारियों एवं पुलिस बलों की तैनाती कर दी है। मतगणना के दौरान अररिया रानीगंज मुख्य मार्ग पर आम लोगों के लिए आवागमन बाधित रहेगा। जिला प्रशासन ने इस मार्ग पर तीन बैरियर लगाने का आदेश जारी किया है। पहला बैरियर मार्केटिंग परिसर से दक्षिण नहर पुल के समीप होगा जहां दंडाधिकारी के रूप में नप के ईओ अनिल कुमार मौजूद रहेंगे। वहीं पश्चिम की ओर दूरसंचार कार्यालय के सामने दूसरा बैरियर पर रानीगंज बीईओ अनिरूद्ध कुमार सदल बल के साथ डयूटी करेंगे। इसके अलावा नहर के मार्केटिंग परिसर मुख्य द्वार तक पैदल गश्ती के लिए रानीगंज बीएओ उमाशंकर सिंह को तैनात किया गया है। मुख्य द्वार पर मेटल डिक्टेटर मशीन लगाया जायेगा। इसके अतिरिक्त जोकीहाट, अररिया व नरपतगंज मतगणना प्रशाल के लिए नरपतगंज के कल्याण पदाधिकारी संजय कुमार झा व फारबिसगंज सिकटी तथा रानीगंज के प्रशाल की देखरेख का जिम्मा कुर्साकाटा के कल्याण पदाधिकारी संजय कुमार पासवान को सौंपा गया है। संयुक्तादेश में नगर थाना को शहर के चांदनी चौक से माता स्थान भगत टोला, ठाकुरबाड़ी रोड, काली बाजार, आश्रम चौक होते हुए एडीबी चौक तक तथा दूसरा गश्ती बस स्टैंड से गोढ़ी चौक से आरएस कोर्ट रेलवे स्टेशन तथा जीरोमाइल तक करने का निर्देश है। जबकि सभी थानाध्यक्ष अपने अपने थाना क्षेत्रों में गश्ती करेंगे। मतगणना को लेकर मार्केटिंग परिसर में बैरिकेटिंग किया जा रहा है तथा हाल में भी जाल आदि लगाये जा रहे है।

बेवजह हंगामा करने वाले एजेंट होंगे बाहर: डीएम

अररिया, संसू: जिला निर्वाचन पदाधिकारी एम. सरवणन ने कहा कि मतगणना के दौरान बिना किसी वजह से काउंटिंग एजेंट हंगामा करेंगे तो उनका प्रवेश पत्र जब्त कर उन्हें परिसर से बाहर कर दिया जायेगा। उन्होंने यह भी कहा कि कोई प्रत्याशी किसी भी अंगरक्षकधारी व्यक्ति सांसद, विधायक, पूर्व सांसद, एमएलसी आदि को मतगणना अभिकत्र्ता नहीं बना सकते हैं। श्रीएम श्री सरवणन यह बातें सोमवार को डीआरडीए सभा भवन में आयोजित मतगणना अभिकत्र्ता व प्रत्याशी के प्रशिक्षण में कही। उन्होंने कहा कि फोटोयुक्त परिचय पत्र धारी एजेंट को ही परिसर में प्रवेश की अनुमति होगी। श्री सरवणन ने कहा कि काउंटिग एजेंट के प्रवेश के लिए मतगणना हाल में अलग से द्वार होगा। उन्होंने बताया कि संबंधित निर्वाची पदाधिकारी के टेबुल पर प्रत्याशी या उनके चुनाव अभिकत्र्ता बैठ सकते हैं। मतगणना हाल के बारे में श्री सरवणन ने बताया कि 14 टेबुल पर मतगणना होगी। एक राउंड होने के पश्चात ही दूसरे राउंड की गिनती शुरू होगी। उन्होंने कहा कि आठ बजे सुबह से ही मतगणना शुरू होगी। उन्होंने तमाम काउंटिग एजेंट व प्रत्याशियों से 24 नवंबर को संयम रखने तथा प्रशासन को सहयोग की अपील की। प्रशिक्षण दो पाली में दिया गया।
इस मौके पर निर्वाची पदाधिकारी उदय कुमार सिंह, विजय कुमार, डा. विनोद कुमार, जफर रकीब, कपिलेश्वर विश्वास, एसडीसी विधानचंद्र यादव, एडीपीआरओ योगेन्द्र कुमार लाल के अतिरिक्त प्रत्याशियों मं मुख्य रूप से नारायण झा, जाकिर अनवर, मंटु भगत, रंजीत यादव, परमानंद ऋषिदेव, मंजूर आलम आदि उपस्थित थे।

प्रशासन सक्रिय : मतगणना परिसर में मोबाइल पर लगी रोक

अररिया, संसू: आगामी 24 नवंबर को होने वाले छह विधानसभा क्षेत्रों के मतगणना को लेकर जिला प्रशासन सुरक्षा के प्रति काफी सक्रिय है। कृषि उत्पादन बाजार समिति के प्रांगण में मतगणना कार्य होगा। उस दिन परिसर में मोबाइल ले जाना वर्जित होगा। अगर जांच के दौरान चाहे वह प्रत्याशी हो या एजेंट ही क्यों न हो उनका मोबाइल जब्त होगा साथ ही उन पर कार्रवाई भी होगी। डीएम एम सरवणन द्वारा जारी आदेश के अनुसार मोबाइल ले जाने की अनुमति प्रेक्षक, डीएम, एसपी, निर्वाची पदाधिकारी तथा सहायक निर्वाची पदाधिकारी की होगी। इसके अतिरिक्त सुरक्षा में लगे जवान के बड़े अधिकारी को भी मोबाइल ले जाने की अनुमति होगी।

शिक्षा क्षेत्र में निरक्षर कलावती का योगदान अविस्मरणीय

रानीगंज(अररिया),जाप्र: है वही इस जग में जो अपनी राह बनाता है, कोई चलता है पद् चिन्हों पर कोई पद चिन्ह बनाता है। पद्मश्री कलावती ऐसी शख्सियत थी जिसके पद चिन्हों पर आज समाज चल रहा है। शिक्षा के क्षेत्र में अविस्मरणीय कार्य के लिए इस निरक्षर महिला को सन् 1980 में भारत सरकार ने पद्मश्री से अलंकृत किया था। पुण्यतिथि के मौके पर कार्यक्रम आयोजित कर उस महान आत्मा को श्रद्धांजलि देने की तैयारी की जा रही है।
काली काया वाली इस महिला की कृति से तत्कालीन प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी इतनी प्रभावित हुई थी कि इन्हें बुलाकर ससम्मान अंगवस्त्र प्रदान किया था। कहते है कलावती का हर कार्य अनुकरणीय था। फिजूलखर्ची को वो इतना नापसंद करती थी। जब उन्हें पद्मश्री अलंकरण के लिए दिल्ली बुलाया गया तो उन्हें वहां एक बड़े व महंगे होटल में ठहराने की व्यवस्था की गयी जिसका प्रतिदिन किराया 2000 रूपये से भी अधिक था। जानकारी होने पर कलावती होटल के उस कमरे में टिकने से यह कहकर मना कर दी कि वह तो 25 रूपये के ही कमरे में रह सकती है। यह फिजूलखर्ची है। कलावती शिक्षा के क्षेत्र में ही नहीं बल्कि पर्यावरण के क्षेत्र में भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया था। कई एकड़ में उनके द्वारा लगाये गये हजारों वृक्ष विद्यालय व महाविद्यालय के लिए करोड़ की संपत्ति है। वृक्ष की महत्ता को समझाते हुए वह दूसरों को भी वृक्षारोपण के लिए प्रेरित करती रही। विद्यालय के छात्रावास में छात्राओं के संग रहकर उन्हें निरंतर अनुशासन का पाठ पढ़ाती रही। भले ही वे हमारे बीच नहीं है। परंतु उनके द्वारा स्थापित विद्या का तीन तीन मंदिर क्षेत्र के हजारों छात्र छात्राओं के लिए शिक्षा का स्रोत बना हुआ हैI

सिर्फ कागज कलम लेकर भीतर जायेंगे काउंटिंग एजेंट

अररिया, संसू: अगर आप 24 नवंबर को किसी प्रत्याशी की तरफ से मतगणना अभिकर्ता बनकर बाजार समिति के भीतर जा रहे है तो अपना पाकेट जरूर जांच ले। निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार मतगणना अभिकर्ता सिर्फ कागज व कलम भीतर ले जा सकते है। इसके अलावा उनके पाकेट में या उनके साथ बाजार समिति के भीतर कुछ भी नहीं जायेगा। इस बात की जानकारी डीएम एम सरवणन एवं एसडीओ डा. विनोद कुमार ने सोमवार को मतगणना एजेंट को दे दी है। डीएम ने स्पष्ट कर दिया कि मतगणना अभिकर्ता साथ में दियासलाई, लाईटर, मोबाइल, आदि अपने साथ नहीं ले सकते। उन्होंने कहा कि मेटल डिक्टेटर से जांच के बाद उक्त सामग्री पाये जाने पर संबंधित व्यक्ति पर कार्रवाई की जायेगी।