Monday, November 7, 2011

श्रद्धा के साथ मना त्याग व बलिदान का पर्व


फारबिसगंज/रेणुग्राम/नरपतगंज(अररिया) : कुर्बानी का पर्व बकरीद मुस्लिम भाइयों के द्वारा सोमवार को इबादत के साथ मनाया गया। फारबिसगंज अनुमंडल क्षेत्र में शहरी समेत ग्रामीण इलाकों में करबला के मैदान में बकरीद की नमाज अदा की गई। फारबिसगंज एफसी आई चौक के समीप स्थित करबला के मैदान में बड़ी संख्या में मुस्लिम भाई एकत्रित हुए। जहां मौलाना मतीन ने नमाज पढ़ाया और खुदा के बताये रास्ते पर चलने की अपील की। कुर्बानी के पर्व के मौके पर मौलाना मतीन ने लोगों से त्याग और बलिदान की भावना का संदेश दिया। पर्व के अवसर पर लोगों ने एक दूसरे से गले मिलकर मुबारक बाद दी। हिन्दु भाइयों ने भी करबला पहुंचकर तथा परिचितों के घरों पर जाकर बकरीद की मुबारक बाद दी। इधर ग्रामीण क्षेत्र में करबला के मैदानों में बकरीद की नमाज अदा की गई। नमाज को लेकर करबला मैदान के समीप सुरक्षा बलों को लगाया गया था। जहां फारबिसगंज के सीआई केशव प्रसाद सिंह, थाना के एएसआई के पी सिंह, एसआई बीडी पंडित, राजन कुमार, संजय कुमार, मूलचंद गोलछा, इंस्पेक्टर फिरोज अहमद सहित कई गणमान्य लोग मौजूद थे।
रेणुग्राम से जाप्र:
त्याग और बलिदान का महापर्व इद-उला-अजहा क्षेत्र में पूरे उल्लास और खुशी के माहौल में शांति पूर्वक संपन्न हो गया। इसको लेकर सोमवार को क्षेत्र के घोड़ाघाट, खवासपुर, डोरिया, पुरंदाहा, बोकरा, हलदिया, सिमराहा आदि जगहों के विभिन्न मस्जिदों एवं इदगाहों पर ईद की नमाज अदा की गयी।
नरपतगंज संसू के अनुसार सच्चाई के लिए कुर्बानी का दिन ईद-उल-अजहा नरपतगंज प्रखंड में शांतिपूर्ण मुसलमान भाईयों ने मनाया। प्रखंड के शिशुआ, खैरा गढि़या, राजगंज, रेवाही, घुरना, बसमतिया, फुलकाहा के मस्जिदों में या ईदगाहों में दो रकात का नमाज पढ़ी गई व उसके पश्चात जानवर की कुर्बानी दी गई। बताया जाता है कि कुर्बानी का मकसद अलामती तौर पर हर मुसलमान में त्याग और समर्पण की मूल भावना को जगाना होता है। कुरबानी का जानवर घर में पालतू हो तो और बेहतर होता है क्योंकि उस जानवर से ज्यादा मोहब्बत होती है। ईद अर्थात खुशी यानी खुशियां मनाने का दिन एक दूसरे से गले मिलना, बधाइयां व गिफ्ट देना वैगरह इस बात की गवाही देते है।

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