Sunday, June 5, 2011

गतिरोध:कचरे पर बसा है अररिया शहर


अररिया : रेत की परतें और उन पर कचरों का ढेर? आपको यकीन हो या न हो लेकिन आज- कल नप क्षेत्र की यही पहचान बन गयी है। जगह-जगह कचरों का ढेर और उससे उठती सड़ांध से शहरी क्षेत्र इतना प्रदूषित है कि लोगों को किसी किसी मार्गो पर चलना भी काफी दुखदायी हो जाता है। अररिया नगर परिषद क्षेत्र के 29 वार्डो के लिए सामान्य दिनों के लिए प्रतिदिन 68 से 70 सफाई मजदूर कार्यरत है। पर्व-त्योहार के मौके पर दर्जन, दो दर्जन मजदूर अलग से लगाये जाते हैं। बावजूद शहर से कचरा निस्तारण का कोई विशेष प्रबंध नही है। चांदनी चौक से पूरब जाने वाली हटिया मार्ग पर हमेशा जगह-जगह सड़ी-गली सब्जियों का ढेर, सड़क किनारे नालों से निकाला गया सडांध पूर्ण कचरा आपको मिल जायेगा।
विभाग से मिली जानकारी मुताबिक 68 सफाई कर्मियों में प्रत्येक वार्डो में एक-एक सफाई कर्मी एवं एक ट्राली कार्यरत है। लेकिन सफाई का आलम यह है कि आवागमन में जरा भी चूक हुई तो आपके पैर कीचड़ से पटे होंगे।
अररिया नप क्षेत्र में कचरा निस्तारण के लिये 3 टेंपू, दो टै्रक्टर, 1 लोडर और सक्सन मशीन कार्यरत है। शहर के सारे कचरों को एक जगह फेंकने के लिये गत वर्ष ही बुआरी बाध में लाखों की लागत से लगभग तीन बीघा जमीन की खरीदारी की गयी। यह अलग बात है कि इस जमीन की खरीददारी में भी अनियमितता की बातें सामने आयी लेकिन आज तक इस जमीन पर कचरा फेंकने का काम प्रारंभ नही किया गया। नप कार्यपालक पदाधिकारी अनिल कुमार ने बताया कि जब तक इस जमीन की घेराबंदी नही हो जाती है तब तक वहां कचरा का निस्तारण नही हो सकता है।

0 comments:

Post a Comment