Friday, March 30, 2012

स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी से जूझ रहे ग्रामीण

नरपतगंज (अररिया) : कहने को तो नागरिकों की स्वास्थ्य सुविधा बिहार सरकार ही नही केन्द्र सरकार की प्राथमिकता में भी शामिल है। मगर नरपतगंज प्रखंड के ग्रामीण आबादी अतिरिक्त उप स्वास्थ्य केन्द्र बनने के बाद भी स्वास्थ्य सुविधाओं का टोटा पड़ा हुआ है। करीब डेढ़ लाख से उपर 29 पंचायतों क्षेत्र में स्वास्थ्य सुविधा भगवान भरोसे हैं। सरकारी व्यवस्था स्वयं बीमार है तो स्वयं सेवी संस्थाएं यहां कहीं दिखाई नहीं पड़ती है। अगर कहीं होगी तो सिर्फ कागजों पर। प्राप्त जानकारी के अनुसार नरपतगंज प्रखंड के ग्रामीण क्षेत्रों में 23 उपस्वास्थ्य केन्द्र है लेकिन बसमतिया पंचायत को छोड़कर किसी को भवन नही है। 22 उप स्वास्थ्य केन्द्र का कोई पता नही है। वहीं गोखलापुर, रामघाट, घुरना व नवाबगंज में अतिरिक्त उपस्वास्थ्य केन्द्र है। जहां आयुष डाक्टरों की तैनाती है। सूत्र बताते है डाक्टरों की कमी को देखते हुए इन डाक्टरों को ज्यादा नरपतगंज प्रा. स्वास्थ्य केन्द्र में ही ड्यूटी लगाई जाती है। अति. उप स्वास्थ्य केन्द्र सप्ताह में नर्स के भरोसे रहते हैं तथा टीका लगाने या पल्स पोलियो कार्यक्रम के ही दिन खुलते हैं। नरपतगंज प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में सरकारी एंबुलेंस तक की व्यवस्था नही है। इस पीएचसी में कहने को तो चार डाक्टर हैं लेकिन यहां मात्र एक ही डाक्टर सरकारी आवास में रहते है। बांकी रोजना प्रखंड क्षेत्र से बाहर से आते है। ऐसे में सोचा जा सकता है रात्रि में कोई महिला या पुरुष गंभीर हालत में आते है तो सीधा उसे रेफर कर दिया जाता है। न विशेषज्ञ चिकित्सकों की टीम, आपरेशन की नौबत आने पर मरीजों को रेफर किया जाता है। अस्पताल में एंबुलेंस नही रहने के कारण मरीजों के परिजन वाहन के लिए परेशान हो जाते हैं।

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