कुर्साकांटा (अररिया) : जन प्रतिनिधियों व सरकारी पदाधिकारियों की उपेक्षा के कारण प्रखंड क्षेत्र का पीरगंज गांव आजादी के छह दशक बीत जाने के बाद भी मूलभूत सुविधाओं से महरूम है। जिसकी सुधि नही ली जा रही है। गांव की आबादी लगभग एक हजार की है। उक्त गांव कुआड़ी पंचायत क्षेत्र के अंतर्गत है। गांव चारों ओर से बकरा नदी एवं मारा धार से घिरा है। पुल-पुलिया, सड़क, बिजली, स्वास्थ्य आदि की समस्या बरकरार है।
ग्रामीण शिक्षक हरिहर राम, जनकू यादव, किसन देव यादव, अचानु ततमा, विश्नदेव यादव, महावीर आदि लोगों ने बताया कि बाढ़ के समय यहां के लोगों का जीवन नारकीय बना रहता है। तीन या चार महीना लोग अत्यधिक कष्ट झेलते हैं। आज तक किसी जन प्रतिनिधि ने इस ओर ध्यान तो दूर कभी यहां के वासियों को देखने या हाल समाचार से भी अवगत नही हुए। सभी ने इस गांव के साथ सौतेले पन का ही व्यवहार किया है। आवागमन के अभाव में यहां के लड़के, लड़कियों का शादी विवाह बाधित होते हैं। इलाज के लिये मरीजों को किस तरह नदी, नाला, मरीया धार पार करना पड़ता है। जब कि कुआड़ी पंचायत की अंतिम सीमा दहिपोड़ा, मजरख, आमगाछी होते सिकटी प्रखंड को जोड़ती है। किंतु आज तक किसी जनप्रतिनिधि ने इस ओर ध्यान तक नही दिया। इसलिए यहां के ग्रामीणों की निगाहें क्षेत्र के नये विधायक पर टीकी है। इन्हें आशा है कि भाजपा विधायक पीरगंज वासियों का समस्याओं से निजात दिलायेंगे।
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